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फिर बढऩे लगा कोरोना तो प्रशासन हुआ सख्त
कोई मजदूरी करने जा रहा था तो कोई पुताई करने, तीन दिन में ही मिले 76 कोरोना संक्रमित मरीज
उज्जैन। पिछले एक सप्ताह में कोरोना संक्रमित मरीजों का आंकड़ा तेजी से बढ़ा है। विशेषज्ञों का कहना है कि तेज सर्दी के मौसम में कोरोना वायरस भी तेजी से सक्रिय होगा ऐसे में सावधानी रखना बेहद जरूरी है, लेकिन आमजन कोरोना को लेकर सतर्कता नहीं बरते रहे और न ही घर से निकलते समय मास्क का उपयोग कर रहे हैं। पुलिस व प्रशासन ने बिना मास्क के सड़कों पर निकलने वाले लोगों के खिलाफ सुबह से शुरू किया और करीब एक घंटे में ही 50 से अधिक लोगों को अस्थायी जेल पहुंचा दिया।
सुबह करीब 9.30 बजे कोयला फाटक ट्राफिक सिग्नल पर एसडीएम, नगर निगम के कर्मचारी व पुलिस की टीम ने एक साथ मिलकर बिना मास्क पहने बाजार में निकलने वालों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की। पुलिसकर्मियों को दूर से देखकर अनेक वाहन चालक अपने वाहन पलटा कर दूसरे रास्ते की ओर भाग गये, लेकिन जिन बिना मास्क पहने लोगों को पुलिसकर्मी नहीं दिखे वह पकड़ में आ गये।
अधिकांश दो पहिया वाहन चालक बिना मास्क के पकड़ाये लेकिन पकड़ाने के बाद बहाने भी अलग-अलग तरह के बनाने लगे, लेकिन प्रशासनिक अधिकारियों ने उनके कोई बहाने नहीं सुने और जेल वाहन में बैठाकर पोलिटेक्निक कॉलेज स्थित अस्थायी जेल पहुंचा दिया। यहां शहर के अलग-अलग मार्गों पर चैकिंग कर रही टीमों की पकड़ में आये लोग भी बंद थे। सुबह करीब 1 घंटे की कार्यवाही में ही बिना मास्क के 50 से अधिक लोग अस्थायी जेल पहुंच चुके थे।
जब तक दवाई नहीं, तब तक ढिलाई नहीं:
देश के कई राज्यों में कोरोना संकट की वजह से हालात बिगड़ते जा रहे हैं। अस्पतालों में मरीजों को भर्ती करने की जगह नहीं बची है ऐसे में डॉक्टर्स के अलावा शासन द्वारा आमजन से अपील की जा रही है कि जब तक दवाई नहीं तब तक ढिलाई नहीं। कोरोना नियमों का पालन करें, बावजूद इसके कई लोग नियमों में मिली छूट का गलत फायदा उठाते हुए कोरोना को अनदेखा कर रहे हैं। इसी का परिणाम रहा कि प्रशासन को पुन: सख्ती बरतना पड़ रही है।
इन्होंने खाई मास्क पहनने की कसम
चिंटू निवासी विराट नगर अपने वाहन से सुबह मजदूरी करने निकला था। उसे कोरोना संक्रमण का कोई भय नहीं। मास्क भी नहीं पहना तो कोयला फाटक पर टीम की पकड़ में आ गया। उसका वाहन सिग्नल के पास पुलिस ने खड़ा कराया और जेल वाहन में बैठा दिया। शिवपाल सिंह निवासी मक्सीरोड़ औरउसका दोस्त नवीन बैरागी कपड़े की दुकान पर सेल्समेन हैं दोनों काम पर जा रहे थे लेकिन बिना मास्क के पकड़ाने पर जेल पहुंच गये। निजामुद्दीन निवासी गांधी नगर मकान पुताई का काम करता है, सुबह बाइक से पुताई करने जा रहा था लेकिन जेल जाना पड़ा।
बहानों के साथ नेताओं को फोन भी लगाये:
बिना मास्क पकड़ाये लोगों ने अस्थायी जेल जाने से बचने के लिये नेताओं को फोन लगाये तो कई लोग बहाने बनाने लगे। किसी का कहना था कि गरीब हूं, मास्क खरीदने के रुपये नहीं हैं तो कोई कह रहा था अर्जेंट में अस्पताल पहुंचना है, पिता भर्ती हैं छोड़ दो।